
रिपोर्टर देवेन्द्र कुमार जैन भोपाल मध्य प्रदेश
रूस ने हाल ही में कैंसर की एक नई वैक्सीन विकसित की है, जिसे एंटेरोमिक्स नाम दिया गया है। यह वैक्सीन विशेष तकनीक पर आधारित है और कोलोरेक्टल, ग्लियोब्लास्टोमा और मेलेनोमा जैसे खतरनाक कैंसर पर असरदार पाई गई है।यह वैक्सीन हर मरीज के RNA के अनुसार कस्टमाइज की जाती है, जिससे यह ट्यूमर को पहचानकर उसे नष्ट कर सकती है। यह वैक्सीन ट्यूमर के आकार को 60 से 80 प्रतिशत तक कम करने में सक्षम है। एंटेरोमिक्स वैक्सीन ने क्लिनिकल ट्रायल में 100 प्रतिशत सफलता दर दिखाई है। ट्रायल के दौरान, वैक्सीन ने ट्यूमर को बढ़ने से रोकने और उसके आकार को कम करने में मदद की है रूस की फेडरल मेडिकल एंड बायोलॉजिकल एजेंसी ने वैक्सीन को मंजूरी देने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। उम्मीद है कि यह वैक्सीन 2026 के अंत या 2027 की शुरुआत तक बाजार में उपलब्ध होगी।वैक्सीन की कीमत लगभग 2.5 लाख रुपये हो सकती है, लेकिन रूसी सरकार ने अपने नागरिकों के लिए इसे मुफ्त देने की योजना बनाई है। स्वास्थ्य अधिकारियों ने पुष्टि की है कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा प्रणाली के तहत मरीजों को यह टीका निःशुल्क दिया जाएगा। यह विकास कैंसर के उपचार में एक बड़ा कदम है, जो सर्जरी, कीमोथेरेपी और विकिरण से परे एक नया दृष्टिकोण प्रदान करता है।यह टीका प्रतिरक्षा प्रणाली को कैंसर कोशिकाओं को लक्षित करने और नष्ट करने के लिए प्रेरित करने हेतु डिज़ाइन किया गया है। रूसी शोधकर्ताओं का कहना है कि इसका नैदानिक उपयोग चुनिंदा अस्पतालों में शुरू होगा, और व्यापक स्तर पर इसकी प्रभावशीलता और सुरक्षा का मूल्यांकन करने के लिए डेटा एकत्र किया जाएगा। यदि परिणाम सकारात्मक रहे, तो इस कार्यक्रम का देशव्यापी और बाद में अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर विस्तार किया जा सकता है।




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