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Jharkhand News लावालौंग थाना कर्मियों की लूट का शिकार हुए गरीब, कर्ज लेकर दिया 40 हजार

रिपोर्टर महेंद्र कुमार यादव चतरा झारखंड

चतरा  लावालौंग प्रखंड मुख्यालय और इसके इर्द- गिर्द के गावों में लावालौंग पुलिस कर्मियों के दादागिरी के चर्चे जोरों पर है। यहां पुलिस कर्मियों की दादागिरी का हद इस कदर पार कर गया है कि एक बेगुनाह बुजुर्ग को डरा धमका कर तथा मानसिक प्रताड़ना कर उससे 40 हजार रुपये की वसूली कर ली गई। उक्त विषय की जानकारी देते हुए सीलदाग पंचायत स्थित चुकू गांव निवासी कमलेश गंझू नें बताया कि मेरी भाभी पचिया देवी के साथ कुछ दिनों से हमारे परिवार का आंतरिक मनमुटाव चल रहा था। एक सप्ताह पूर्व पचिया और मेरी मां के साथ हल्की झड़प भी हुई थी। इसके बाद पचिया थाना पहुंचकर मेरे मां के संबंध में कोई आरोप ना लगाते हुए मेरे पिता समेत सात लोगों पर सामूहिक दुष्कर्म का आरोप लगाया था। जिसके बाद थाना प्रभारी के द्वारा सभी लोगों को बुलाकर पूछताछ की गई। इसके बाद सहायक पुलिस सूरज कुमार नें हमलोगों को डराना धमकाना शुरू कर दिया और कहा कि 50 हजार रुपये तुरंत व्यवस्था करो अन्यथा सब को उठाकर अंदर कर देंगे। इसके बाद डर से हम लोगों ने गांव से कर्ज लेकर काफी अनुनय विनय करते हुए 10 हजार रुपये कम करवाकर 40 हजार रुपये सूरज कुमार को दिया। इसके बाद हमें थाने से बाहर आने दिया गया। इसके बाद गांव के पंचायत में उक्त दोनों युवकों के उपस्थित ना होने एवं पंचायत में भी पचिया के द्वारा मानसिक प्रताड़ना करने से आहत पचन आत्महत्या की कोशिश की। बेहद मशक्कत से परिजनों ने उसकी जान बचाई। क्षेत्र में चर्चा है कि अगर ऐसे ही पुलिसिया दादागिरी कायम रहा तो बेगुनाह और गरीब इनके लूट की चक्की में पिसते रहेंगे। इस मामले को लेकर पचन और उसके परिजनों नें चतरा पुलिस अधीक्षक को आवेदन देकर न्याय की गुहार लगाई है। इधर थाना प्रभारी से पूछे जाने पर उन्होंने मामले से पल्ला झाड़ते हुए पैसे लेने की बात से इनकार कर दिया और कहा कि उसके पास क्या सबूत है कि उससे पैसे लिए गए हैं।

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